प्रदेश में कोविड-19 की स्थिति और अर्थव्यवस्था की ली जानकारी
श्री सिंहदेव ने कोविड-19 नियंत्रण और ग्रामीण अर्थव्यवस्था की मजबूती
के लिए किए जा रहे उपायों की दी जानकारी
कंसुलेट के अधिकारियों को नरवा, गरवा, घुरवा, बारी योजना के बारे में भी विस्तार से बताया
स्वास्थ्य मंत्री श्री
सिंहदेव ने अमेरिकी कॉन्सल जनरल को बताया कि छत्तीसगढ़ में जनवरी माह से ही
कोरोना वायरस के संक्रमण से निपटने की तैयारियां शुरू कर दी गई थी। प्रदेश
में अभी कोरोना वायरस की आरटी-पीसीआर जांच चार लैब में हो रही है। शुरूआती
दौर में केवल एम्स में ही इसकी सुविधा थी। ज्यादा से ज्यादा लोगों की जांच
के लिए पूल टेस्टिंग भी की जा रही है। राज्य शासन द्वारा 75 हजार आरडी किट
की खरीदी कर बेहतर सर्विलांस सुनिश्चित की जा रही है। उन्होंने बताया कि
बड़ी संख्या में प्रवासी मजदूरों की वापसी के बाद प्रदेश को ज्यादा
चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा। ज्यादा से ज्यादा संसाधन जुटाकर, सतर्कता
और सावधानी से इस कठिन समय में कोविड-19 से पार पाने हम एकजुट होकर सभी
विभागों से समन्वय बनाकर काम कर रहे हैं।
श्री सिंहदेव ने बताया
कि कोविड-19 संक्रमितों के इलाज के लिए प्रदेश के अनेक चिकित्सा संस्थानों
में आवश्यक संसाधन जुटाकर करीब आठ हजार बिस्तर तैयार किए जा रहे हैं।
उन्होंने बताया कि कोरोना वायरस से संक्रमित 36 मरीज उपचार के बाद स्वस्थ
हो चुके हैं। भारत सरकार से भी लगातार चर्चा और समन्वय कर प्रदेश के लिए
संसाधन जुटाए जा रहे हैं। कोविड-19 के नियंत्रण के लिए राज्य और केंद्र
सरकार एक दूसरे की मदद कर रही हैं।
अमेरिकी कॉन्सल जनरल
श्री डेविड जे. रॉंज द्वारा लॉक-डाउन अवधि में अर्थव्यस्था को गति देने किए
जा रहे कार्यों के बारे में पूछने पर पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री
श्री सिंहदेव ने बताया कि मनरेगा के साथ ही राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन
द्वारा आजीविका संवर्धन के कार्य अभी प्राथमिकता से किए जा रहे हैं। इससे
लाखों की संख्या में रोजगार के अवसर पैदा हुए हैं। गांवों में लोगों की
क्रयशक्ति बढ़ी है। ग्रामीण अर्थव्यस्था को मजबूत करने राज्य सरकार नरवा,
गरवा, घुरवा, बारी जैसी महत्वाकांक्षी योजना संचालित कर रही है। इससे कृषि
के लिए बेहतर जैविक संसाधन और गांवों में रोजगार के मौके बढ़ाने में सहायता
मिल रही है।
श्री सिंहदेव ने
अमेरिकी कंसुलेट के अधिकारियों को बताया कि राज्य सरकार द्वारा समर्थन
मूल्य पर खरीदे गए धान के खाद्यान्न के रूप में उपयोग के बाद चावल से
एथेनॉल बनाने की महत्वपूर्ण योजना पर काम चल रहा है। इसके मूर्त रूप ले
लेने के बाद सरकार द्वारा उपार्जित पूरे धान का बेहतर उपयोग सुनिश्चित किया
जा सकेगा। श्री सिंहदेव ने बातचीत में कहा कि अमेरिका द्वारा किसी भी तरह
के सहयोग का राज्य सरकार स्वागत करेगी।
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